मेहनत करने वालों के बारे में जो बातें कही गई हैं, वो सही कही गईं हैं. परिस्थिति चाहे कैसी भी हो, वो कभी नहीं घबराते, न कभी मेहनत से मुंह मोड़ते हैं. उन्हें सफ़लता भले ही देर से मिले, उनकी मेहनत जारी रहती है. ऐसी ही कहानी है एक आंध्र प्रदेश के फ़याज़ बाशा की. वो राज्य के रायकोटी इलाके में सब्ज़ी बेचते हैं. लेकिन एक सब्ज़ी विक्रेता होने के साथ अब यहां के नगरपालिका अध्यक्ष भी बन गए हैं.
बाशा डिग्री धारक हैं, लेकिन एक अच्छी नौकरी पाने में असफल हो बाद से वह घर चलाने के लिए स्थानीय बाजार में सब्जी बेचने लगे. हालांकि, जब भी उन्हें खाली समय मिलता था तो वह वाईएसआरसीपी (राजनीतिक पार्टी) के लिए काम करते थे. अपनी मेहनत और किस्मत के दम पर आज वो एक सब्जी वाले से नगर पालिका अध्यक्ष बन गए हैं.
उन्होंने पिछली बार के नगरपालिका चुनाव में YSRC के लिए प्रचार किया था और इसी पार्टी के कैंडिडेट को जिताने में अहम भूमिका निभाई. इस बार के चुनाव में पार्टी ने उन्हें अपने उम्मीदवार के तौर पर खड़ा किया कर बाशा जीत कर आये.
अपनी जीत के बाद बाशा ने कहा, ‘मैं मुख्यमंत्री जगन मोहन रेड्डी को धन्यवाद देता हूं कि उन्होंने मेरे जैसे किसी को डिग्री धारक होने के बावजूद बेरोजगारी के कारण मुझे जीवन चलाने लिए अपने गांव में सब्जियां बेचनी पड़ीं. जीवन में मेरी कोई दिशा नहीं थी लेकिन अब मुझे दिशा मिल गई है.” आंध्र प्रदेश में हुए नगरपालिका चुनाव में इस बार YSRCP ने 86 में से 84 सीटों पर जीत हासिल की.