‘तू खुद की खोज में निकल,तू किस लिए हताश है, तू चल, तेरे वजूद को समय को भी तलाश है…आपका बैकग्राउंड कुछ भी हो, लेकिन अगर आपके भीतर मंजिल तक पहुंचने की आग है तो दुनिया की कोई भी मुश्किल आपका रास्ता नहीं रोक सकती…ऑटो चालक की बेटी ने वीएलसीसी फेमिना मिस इंडिया 2020- रनर अप बनकर इतिहास रच दिया है

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दिन में पढ़ाई करती थीं, शाम के वक्त बर्तन धोती थीं और रात में कॉल सेंटर में काम करती थीं, रिक्‍शे का किराया बचाने को मीलों तक पैदल चलती थीं… पर जिंदगी में कुछ कर गुजरने का जुनून ऐसा था कि कभी थकी नहीं, हिम्मत नहीं हारी और आज मान्या ने ऐसा काम कर दिखाया है कि देश की अन्य लड़कियों के लिए वह प्रेरणा बन गई हैं…..

गांव की बेटी की जिंदगी में मुश्किलें ही मुश्किलें होती हैं..लेकिन जब वो मुश्किलों के पहाड़ को चीरकर आगे बढ़ने की हिम्मत करती है तो किस्मत भी उसका साथ देती है। उत्तर प्रदेश के शहर गोरखपुर के एक गांव की बेटी ने भी ऐसा कारनामा कर दिखाया है कि आज वो लोगों की आंखों का तारा बन गई है और हर जगह उसकी तारीफ हो रही है। मान्या ने दिखा दिया कि अगर आपके अंदर जज्बा है, तो आपके लिए कुछ भी नामुमकिन है।

आज मान्या की तस्वीरें और वीडियो सोशल मीडिया पर खूब ट्रेंड कर रहे हैं। एक ऐसा ही वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है, जिसमें मान्या हील्स पहनकर सड़क पर रैंप वॉक करती हुई नजर आ रही हैं। मान्या ने इस वीडियो को शेयर करते हुए लिखा, ‘कोयला कैसे डायमंड बना’। मान्या के इस वीडियो को लोग काफी पसंद कर रहे हैं और जमकर शेयर भी कर रहे हैं। दरअसल मान्या इस तरह अपने जीवन की दास्तां को खुद बयां कर देश की अन्य बेटियों को प्रेरित कर रही हैं, जागरुक कर रही हैं।

ऐसा क्या किया है मान्या ने
देवरिया के ऑटो चालक की बेटी मान्या सिंह ने मिस इंडिया 2020 रनर अप बनकर इतिहास रच दिया है। इस प्रतियोगिता में विजेता का खिताब तेलंगाना की मानसा वाराणसी ने जीता है, जबकि मनिका श्योकंद ने दूसरी रनर-अप बनकर हरियाणा का नाम रोशन किया है। लेकिन उल्लेखनीय बात यह है कि इन तीनों में जो फर्स्ट रनर-अप रहीं मान्या सिंह सोशल मीडिया पर ट्रेंड कर रही हैं। यह बताते चलें कि हर साल फेमिना मिस इंडिया प्रतियोगिता होती है। 1952 से यह प्रतियोगिता होती चली आ रही है। इसमें विजेता बनने के पश्चात ही भारतीय सुंदरी को अन्तर्राष्ट्रीय सौन्दर्य प्रतियोगिताओं मे भाग लेने की अनुमति दी जाती है। विजेता को ब्रह्मांड सुंदरी प्रतियोगिता, उपविजेता को विश्व सुंदरी प्रतियोगिता में भाग लेने की मौका मिलता है।

क्यों ट्रेंड कर रही मान्या
मान्या सिंह ने साबित कर दिखाया कि आपका बैकग्राउंड कुछ भी हो, लेकिन अगर आपके भीतर मंजिल तक पहुंचने की आग है तो दुनिया की कोई भी मुश्किल आपका रास्ता नहीं रोक सकती। मान्या खुद कहती हैं, ‘तू खुद की खोज में निकल, तू किस लिए हताश है, तू चल, तेरे वजूद को समय को भी तलाश है।’ दरअसल, मान्या की असल जिंदगी की कहानी किसी फिल्मी कहानी से कम नहीं है। ‘मिस इंडिया 2020’ प्रतियोगिता में शामिल दूसरी प्रतिभागियों से मान्या की जिंदगी बिल्कुल अलग है। उनका बचपन काफी संघर्षपूर्ण रहा है। यही वजह है कि आज पूरा देश मान्या सिंह के बारे में जानना चाहता है। ‘कोयला कैसे डायमंड बना’ वीडियो में खुद मान्या अपने बारे में बता रही हैं। मान्या की मानें तो उनकी जिंदगी कठिनाईयों से भरी रही है। उनके पिता एक ऑटो रिक्शा चालक हैं। उनका बचपन कई तरह की मुश्किलों से गुजरा है। मान्या ने सोशल मीडिया पर एक पोस्ट शेयर की है, जिसमें उन्होंने खुलासा करते हुए लिखा है कि, ‘मैंने खाना और नींद के बिना कई रातें बिताई हैं। मेरे पास कई मीलों तक चलने के लिए पैसे नहीं होते थे। मेरे खून, पसीने और आंसुओं ने मेरे सपनों को आगे बढ़ने का साहस जुटाया है। ऑटो रिक्शा चालक की बेटी होने के नाते मुझे कभी स्कूल जाने का मौका नहीं मिला, क्योंकि मुझे अपने बचपन में ही काम करना शुरू करना था। मेरी मां के पास मेरी परीक्षा की फीस भरने के लिए पैसे नहीं थे, जिसकी वजह से उन्होंने अपने गहने तक गिरवी रख दिए थे और हमेशा पैशन को फॉलो करने के लिए कहा। मेरी मां ने मेरे लिए बहुत कुछ झेला है।’ मान्या ने आगे लिखा कि, ‘मैं 14 साल की उम्र में घर से भाग गई थी। दिन के वक्त मैं पढ़ाई करती थी। वहीं, शाम के वक्त बर्तन धोती थी और रात के वक्त कॉल सेंटर में काम करती थी। मैं मीलों तक पैदल चलकर जाती थी ताकि रिक्शे का किराया बचा सकूं।

दोस्त उड़ाते थे मजाक
मान्या कहती हैं, कॉलेज के दौरान जब उनके दोस्तों को पता चला कि उनके पिता रिक्शा चलाते हैं तो उनके दोस्तों ने उनसे बात करना ही छोड़ दिया था। साथ ही जब वो उनके सामने मिस इंडिया बनने की ख्वाहिश बतातीं तो लोग उनमे ढेर सारी कामियां निकालकर उनका मजाक तक बनाते रहे।

मां ने बढ़ाई हिम्मत
मान्या कहती हैं जब मैंने अपनी मां से कहा कि मैं मिस इंडिया बनना चाहती हूं तो मां ने कहा कि मिस इंडिया बनने के लिए स्ट्रॉन्ग बैकराउंड होना जरूरी है। हमारे जैसे लोग ऐसे सपने नहीं देखते। कभी औकात से बढ़कर सपना नहीं देखना चाहिए। लेकिन मुझे खुद पर बहुत भरोसा था और मैंने ठान लिया था कि वक्त आने पर मैं मां की ही नहीं, बल्कि दुनिया की ऐसी धारणा को जरूरी बदलूंगी। मेरा तो यही मानना था कि जितने बड़े सपने, उनती बड़ी मुश्किलें आपके रास्ते में आती हैं, लेकिन अपने सपनों पर विश्वास करें और मेहनत से जुट जाएं, बस यही मेरा मूल मंत्र रहा और आज मैं यहां हूं। यह तो शुरुआत है, मुझे तो और भी आगे जाना है। बाद में मेरी मेहनत को देखकर मां ने मेरी हिम्मत बढ़ाई।

गांव के लोग कर रहे तारीफें, मना रहे खुशियां
ऑटो चालक ओमप्रकाश सिंह की बेटी मान्या सिंह ने वीएलसीसी फेमिना मिस इंडिया 2020- रनर अप बनकर इतिहास रच दिया है। दिसंबर 2020 में ही वह मिस उत्तर प्रदेश बनी थीं। उनकी सफलता पर गांव सहित क्षेत्र के लोग काफी उत्साहित हैं। बैतालपुर ब्लॉक के विक्र्तम विशुनपुर गांव के एक साधारण परिवार में जन्मी मान्या देसही देवरिया क्षेत्र के लोहिया इंटर कालेज में इंटर फाइनल की छात्रा हैं। उसके पिता ओमप्रकाश सिंह कुशीनगर के हाटा में मकान बनवाकर रहते हैं। वहां से वह लोकल में ऑटो चलाते हैं। पहले वह मुंबई में चलाते थे। मान्या की मां मुंबई में रहती हैं। वह एक डिजाइनर हैं। लॉकडाउन में विद्यालय बंद होने की वजह से वह मुंबई चली गईं। 10 फरवरी बुधवार की रात मुंबई में हुए कार्यक्रम में मान्या वीएलसीसी फेमिना मिस इंडिया 2020- रनर अप चुनी गईं। मान्या के चुने जाने पर लोहिया इंटर कालेज के प्रबंधक अनिल सिंह व गांव के पूर्व प्रधान अशोक सिंह सहित क्षेत्र के लोगों ने खुशी व्यक्त करते हुए मान्या की खूब तारीफें की हैं। मान्या के इतिहास रचते ही गांव में जश्न का माहौल है।

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